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नई दिल्ली, अप्रैल 6
कांग्रेस सरकार में कई बार केंद्रीय मंत्री रहे गांधी परिवार के खास एके एंटोनी के बेटे अनिल एंटनी ने गुरुवार को बीजेपी का दामन थाम लिया।
एशिया नेट न्यूज के अनुसार वे केरल में बीजेपी के प्रमुख चेहरा हो सकते हैं। अनिल एंटनी ने 2002 के गुजरात दंगों और पीएम मोदी पर BBC की डॉक्यूमेंट्री पर विवाद के बाद कांग्रेस से बगावत कर दी थी।
वैचारिक रूप से असहमति जताते हुए जनवरी में कांग्रेस छोड़ दी थी। गुरुवार को एंटोनी ने बीजेपी ज्वाइन कर ली। नई दिल्ली में केंद्रीय मंत्री पीयूष गोयल ने उनको पार्टी की सदस्यता दिलाई। केरल बीजेपी के अध्यक्ष के.सुरेंद्रन भी विशेष रूप से मौजूद रहे।
केरल में वाम मोर्चा और कांग्रेस के बीच ही मुख्य लड़ाई होती है। 140 विधानसभा और 20 लोकसभा सीटों वाले केरल में मुख्यत: वाम मोर्चा का ही एकाधिकार रहा है। अभी यहां पर सीपीआई (एम) के नेतृत्व वाली लेफ्ट डेमोक्रेटिक फ्रंट (एलडीएफ) की सरकार है। पिनराई विजयन यहां के सीएम हैं। वह लगातार दो बार से यहां मुख्यमंत्री हैं जबकि मुख्य विपक्षी दल कांग्रेस के नेतृत्व वाला यूनाइटेड डेमोक्रेटिक फ्रंट है।
बीजेपी 2016 और 2021 में शून्य सीटें पाई थी। बीते विधानसभा चुनाव में भारतीय जनता पार्टी ने मेट्रोमैन ई.श्रीधरन को अपना चेहरा बनाया था। लेकिन स्वयं श्रीधरन भी अपनी सीट नहीं जीत सके थे।
एके एंटोनी, केरल के प्रभावशाली नेताओं में शुमार रहे हैं। वह केंद्र की कांग्रेस नेतृत्व में बनी सरकारों में मंत्री पद संभाल चुके हैं। गांधी परिवार के खास माने जाते हैं। उनके बेटे अनिल एंटोनी भी कांग्रेस के केरल इकाई में सक्रिय रहे हैं। हालांकि, बीबीसी डॉक्यूमेंट्री को लेकर उन्होंने असहमति जताते हुए पार्टी छोड़ दी। अब वह बीजेपी के साथ हैं। माना जा रहा है कि अनिल एंटोनी को बीजेपी राज्य में पैठ बनाने के लिए प्रमोट कर सकती है। एंटोनी स्थानीय होने के साथ साथ युवा नेता हैं।