दिसंबर के पहले हफ्ते से टमाटर के दाम गिरने लगेंगे

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नई दिल्ली, नवंबर 26

पंजाब, उत्तर प्रदेश, हरियाणा और हिमाचल प्रदेश में बेमौसम बारिश के कारण सितंबर 2021 के अंत से टमाटर का अखिल भारतीय औसत खुदरा मूल्य बढ़ रहा है क्यूंकि फसल को भारी नुकसान हुआ और इन राज्यों से आने में देरी हुई।
उत्तर भारतीय राज्यों से देरी से आवक के बाद तमिलनाडु, आंध्र प्रदेश, तेलंगाना और कर्नाटक में भारी बारिश हुई, जिससे आपूर्ति बाधित हुई और फसल को भी नुकसान हुआ।

25.11.2021 को टमाटर का अखिल भारतीय औसत मूल्य 67 रुपये प्रति किलोग्राम था जो पिछले वर्ष की तुलना में 63 प्रतिशत अधिक है। टमाटर की कीमत अत्यधिक अस्थिर है क्योंकि आपूर्ति श्रृंखला में मामूली व्यवधान या भारी बारिश के कारण क्षति होने से कीमतों में तेजी आती है। इसके विपरीत, थोक आवक और लॉजिस्टिक्स समस्याओं के कारण बाजार में भरमार की स्थिति पैदा हो सकती है और इसके परिणामस्वरूप खुदरा कीमतों में गिरावट आ सकती है।

कृषि विभाग के अनुसार, चालू वर्ष में अनुमानित खरीफ उत्पादन 69.52 एलएमटी है, जो पिछले वर्ष उत्पादित 70.12 एलएमटी के बराबर है। पिछले साल 21.32 लाख मीट्रिक टन की तुलना में इस साल नवंबर में आगमन केवल 19.62 लाख मीट्रिक टन था। उत्तर भारतीय राज्यों से टमाटर की आवक दिसंबर की शुरुआत से ही शुरू हो जाएगी, जिससे उपलब्धता बढ़ेगी और कीमतों में गिरावट आएगी। दिसंबर में, आगमन पिछले साल के बराबर होने की उम्मीद है।

टमाटर की बढ़ी कीमत को लेकर खाद्य मंत्रालय ने कहा कि दिसंबर के पहले हफ्ते से टमाटर के दाम गिरने लगेंगे। मंत्रालय ने कहा कि उत्तर भारत के राज्यों में टमाटर की आपूर्ति शुरू हो जाएगी।

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